tag:blogger.com,1999:blog-2806191542948835941.post5000756856350037051..comments2024-03-19T02:10:35.267+05:30Comments on आवाज़: "अमृता - इमरोज़"- रंजना भाटिया की नज़र मेंनियंत्रक । Adminhttp://www.blogger.com/profile/02514011417882102182noreply@blogger.comBlogger7125tag:blogger.com,1999:blog-2806191542948835941.post-69137153900590290642009-01-12T21:41:00.000+05:302009-01-12T21:41:00.000+05:30स्वागतम जी,स्वागतम!बहुत बढ़िया....आलोक सिंह "साहिल...स्वागतम जी,स्वागतम!<BR/>बहुत बढ़िया....<BR/>आलोक सिंह "साहिल"आलोक साहिलhttps://www.blogger.com/profile/07273857599206518431noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-2806191542948835941.post-24760946396397831042009-01-12T20:01:00.000+05:302009-01-12T20:01:00.000+05:30इस समीक्षा को पढ़कर ऐसा लगा कि आपने इस पुस्तक को श...इस समीक्षा को पढ़कर ऐसा लगा कि आपने इस पुस्तक को शिद्दत से पढ़ा है। मन हुआ कि पूरी किताब पढ़ डालें। रंजना जी, इस तरह से आप अन्य कवियों और उनके जीवन से जुड़ी बातों पर प्रकाश डालें।शैलेश भारतवासीhttps://www.blogger.com/profile/02370360639584336023noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-2806191542948835941.post-17848311879573690762009-01-11T01:32:00.000+05:302009-01-11T01:32:00.000+05:30अमृता जी के लेखन से सजी इस किताब के समीक्षा रंजु ज...अमृता जी के लेखन से सजी इस किताब के समीक्षा रंजु जी जैसी संवेदनशील कवियत्री द्वारा करना बेहद सुखद है. <BR/>ऐसे प्रयास होते ही रहेंगे इस नये साल.दिलीप कवठेकरhttps://www.blogger.com/profile/16914401637974138889noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-2806191542948835941.post-82756015671761185422009-01-09T19:00:00.000+05:302009-01-09T19:00:00.000+05:30अच्छी लगी यह समीक्षा !अच्छी लगी यह समीक्षा !Arvind Mishrahttps://www.blogger.com/profile/02231261732951391013noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-2806191542948835941.post-85148509334295412162009-01-09T17:33:00.000+05:302009-01-09T17:33:00.000+05:30hmm ye kitab mujhe bhi pasand hai...!hmm ye kitab mujhe bhi pasand hai...!कंचन सिंह चौहानhttps://www.blogger.com/profile/12391291933380719702noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-2806191542948835941.post-88780352678416930692009-01-09T15:00:00.000+05:302009-01-09T15:00:00.000+05:30रंजना जी बहुत बढ़िया समीक्षा की है आपने.....और भी ...रंजना जी बहुत बढ़िया समीक्षा की है आपने.....और भी कुछ पुस्तकों की समीक्षा आप करें ऐसा आशा रहेगी.....आपकी आवाज़ इतनी अच्छी है पता नही आप क्यों पॉडकास्ट पर और अधिक ध्यान नही देती हैं.....Sajeevhttps://www.blogger.com/profile/08906311153913173185noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-2806191542948835941.post-7078958203913984992009-01-09T14:08:00.000+05:302009-01-09T14:08:00.000+05:30जब पढा करता था। तब अमृता जी के लेखन से परिचय हुआ त...जब पढा करता था। तब अमृता जी के लेखन से परिचय हुआ तो फिर बस एक तलाश रहती कि कब उनकी लिखी कोई किताब मिलें और मैं उसे पढ़ डालू।<BR/>रंजू जी ने उन्हें दिल से याद किया हैं। सुन तो नही पाऊँगा। <BR/>कल रात सपने में एक<BR/>औरत देखी<BR/>जिसे मैंने कभी नही देखा था<BR/>इस बोलते नैन नक्श बाली को<BR/>कहीं देखा हुआ है ..<BR/><BR/>कभी कभी खूबसूरत सोचे<BR/>खूबसूरत शरीर भी धारण कर लेती है...<BR/><BR/>सच।सुशील छौक्कर https://www.blogger.com/profile/15272642681409272670noreply@blogger.com